सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

Chal Chala Rani Riharshal Kara Di Song Lyrics | Maine Unko Sajan Chun Liya Movie | Pawan Singh , Kajal Raghwani , Indu Sonali | चल चला रानी रिहर्सल करा दी गाने का लिरिक्स | कैसे क्या होगा ससुरार जब जाऊंगी

Chal chala Rani Riharshal Kara Di गाने को गाया है  पवन सिंह और इंदु सोनाली ने | लिखा है विनय निगम ने और म्यूजिक दिया है छोटे बाबा ने | 
चल चला रानी रिहर्सल करा दी गाना Maine Unko Sajan Chun Liya मूवी का है | इसमें पवन सिंह व काजल राघवानी मुख्य - भूमिका में हैं | 
Chal Chala Rani Riharshal Kara Di गाने को DRJ Records Bhojpuri पर रिलीज किया गया है | 

Movie - Maine Unko Sajan Chun Liya
Song - Chal Chala Rani Riharsal Kara Di

Singer - Pawan Singh , Indu Sonali
Lyrics - Vinay Nigam
Music - Chhote Baba
Label - DRJ Records Bhojpuri

-:- Chal Chala Riharshal Kara Di | Bhojpuri Lyrics -:-
कैसे क्या होगा ससुराल जब जाउंगी
कैसे मै सेजिया पे घुघटा उठाउंगी
कैसे क्या होगा ससुराल जब जाउंगी
कैसे मै सेजिया पे घुघटा उठाउंगी
किस से पुछू सखियांन कि हुई नहीं शादी
चल चला ….!!!
चल चला रानी
रीहल्सल कारा दी
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
मालूम नहीं है हनीमून का तरीका
का दी ट्रेंड आवा माडाई के पीछा
मालूम नहीं है हनीमून का तरीका
का दी ट्रेंड आवा माडाई के पीछा
राजी कैसे होऊ मै होगी बर्बादी
चल चला ….!!!
चल चला रानी
रीहल्सल कारा दी
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
कोमल कलि हु और कन्या कुवारी
कहे डेरालू हाई प्रेम के पुजारी
कोमल कलि हु और कन्या कुवारी
कहे डेरालू हाई प्रेम के पुजारी
हाथ नहीं आउंगी हु मै शहजादी
चल चला ….!!!
चल चला रानी
रीहल्सल कारा दी
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला रानी रीहल्सल कारा दी !!
चल चला ….!!! चल चला ….!!!


Chal Chala Rani Riharsal Kara Di Song 'Maine Unko Sajan Chun Liya' Movie | Pawan Singh , Kajal Raghwani , Indu Sonali Song Lyrics आपको कैसा लगा | कमेंट करके जरूर बतायें |

आपकी क्या राय है इस आर्टिकल के बारे में कमेंट में जरूर बतायें |

अगर आपको यह लेख अच्छा लगा हो और आपइसी तरह के लेख पढ़ना चाहते हैं तो न्यूजलेटर में अपना ईमेल डाल कर सबमिट करें और ईमेल वेरीफिकेशन करके सबस्क्राइब करें या ऊपर आ रहे नोटिफिकेशन को Allow करके सबस्क्राइब करें ताकि आप ऐसी खबरें पा सको | अच्छा लगे तो शेयर करें |

                 
                 अवनीश कुमार मिश्रा

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

बलिहारी गुर आपणैं का संदर्भ , प्रसंग सहित व्याख्या । Sakhi । Kabeer Ke Dohe Class 11 Up Board Solutions

प्रस्तुत पद्यांश "बलिहारी गुर आपणैं ‘" का संदर्भ , प्रसंग , व्याख्या , काव्य सौंदर्य तथा शब्दार्थ इस आर्टिकल में लिखा गया है। जो की कबीरदास जी की रचना है , ये छात्रों के लिए काफी मददगार होने वाला है। खास बात यह है कि अगर आप यूपी बोर्ड के 11वीं में हो तो हिंदी के "काव्य" पाठ 1 में "साखी" शीर्षक से है। आपको दूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "दोहे" का आर्टिकल अलग - लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा है, अवनीश कुमार मिश्रा ने, ये ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं)                               दोहा बलिहारी गुर आपणैं, द्यौहाड़ी कै बार। जिनि मानिष तैं देवता, करत न लागी बार॥ सन्दर्भ - प्रस्तुत पद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में ‘साखी’ शीर्षक से उद्धृत है, जो साखी ग्रंथ से लिया गया है। जिसके रचयिता कबीरदास जी हैं। प्रसंग - कबीरदास ने प्रस्तुत दोहे में गुरु के प्रति अपनी भावना व्यक्त किया है और महिमा का वर्णन करते हुए उनपर न्यौछावर हो जाने की बात की है।  व्याख्या - प्...

मेरी भव-बाधा हरौ, राधा नागरि सोइ की संदर्भ, प्रसंग सहित व्याख्या । Meri Bhaw Badha Harau Doha Bihari Lal

"मेरी भव-बाधा हरौ" की संदर्भ सहित व्याख्या इस आर्टिकल में की गई है। जो कि रससिद्ध कवि बिहारी की रचना है। और खास बात यह है कि यह पद्यांश यूपी बोर्ड के 10वीं के हिन्दी के काव्य में "भक्ति" शीर्षक से है। तो अगर आप 10वीं में हो तो आपके लिए ये काम की आर्टिकल है। आपके परीक्षा में आ सकता है।  ये दोहा शीर्षक का पहला "दोहा" है। आपको ढूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "पद" के लिए अलग - आर्टिकल लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा अवनीश कुमार मिश्रा ने वे ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं) दोहा - मेरी भव-बाधा हरौ, राधा नागरि सोइ । जा तन की झांईं परै, स्यामु हरित-दुति होइ॥ संदर्भ - प्रस्तुत दोहा  हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में "भक्ति " शीर्षक से उद्धृत है , जोकि रीतिकाल के रससिद्ध कवि बिहारी द्वारा रचित ‘बिहारी सतसई’ नामक ग्रंथ से लिया गया है। प्रसंग - प्रस्तुत पंक्ति में कवि ने राधा जी की वंदना की है। प्रस्तुत दोहे के कईं भाव हैं तो सभी को लिखा जा रहा है, जिससे समझने में आसानी हो। व्याख्या -   1...

दीपक दीया तेल भरि, बाती दई अघट्ट संदर्भ , प्रसंग सहित व्याख्या । Deepak Diya Tel Bhar । Sakhi । Kabeer Ke Dohe Class 11 Up Board Solutions

प्रस्तुत पद्यांश "दीपक दीया तेल भरि‘" का संदर्भ , प्रसंग , व्याख्या , काव्य सौंदर्य तथा शब्दार्थ इस आर्टिकल में लिखा गया है। जो की कबीरदास जी की रचना है , ये छात्रों के लिए काफी मददगार होने वाला है। खास बात यह है कि अगर आप यूपी बोर्ड के 11वीं में हो तो हिंदी के "काव्य" पाठ 1 में "साखी" शीर्षक से है। आपको दूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "दोहे" का आर्टिकल अलग - लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा है, अवनीश कुमार मिश्रा ने, ये ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं)                               दोहा दीपक दीया तेल भरि, बाती दई अघट्ट। पूरा किया बिसाहुणाँ, बहुरि न आवौं हट्ट॥ सन्दर्भ - प्रस्तुत पद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में ‘साखी’ शीर्षक से उद्धृत है, जो साखी ग्रंथ से लिया गया है। जिसके रचयिता कबीरदास जी हैं। प्रसंग - प्रस्तुत दोहे में कबीरदास जी ने भक्ति पर बल देते हुए कहा कि इस योनि में भक्ति कर लेने से जीवन - मरण चक्र से मुक्ति मिल जाएगी। व्याख्या - प्रस्तुत पंक्ति...