सीधे मुख्य सामग्री पर जाएं

संजीव मिश्रा की दो भोजपुरी फिल्म का मुम्बई में हुआ भव्य मुहूर्त | Bhojpuri New Movie 2022 - 23 | Gupshup News

भोजीवुड (Gupshup News Desk) - निर्माता सतेन्द्र तिवारी के द्वारा कल मुम्बई के अंधेरी वेस्ट मयूर हॉल में फिल्म भागवत , छक्का का हुआ भव्य मुहूर्त, दोनों फिल्मो की सूटिंग बहुत जल्द होगी स्टार्ट।

नमस्कार, आदाब मैं हूं अवनीश कुमार मिश्रा

आयुष मोशन पिक्चर्स के बैनर तले दोनों फिल्मो का निर्माण हो रहा है फिल्म भागवत के निर्देशक सतेन्द्र तिवारी है और फिल्म निर्माता सतेन्द्र तिवारी व राजू सिंह है , फिल्म छक्का के निर्देशन का बागडोर हिंदी फिल्मों के बेस्ट निर्देशक अंजन गोस्वामी है दोनो फिल्मो में संगीत से गाने को सजायेंगे संतोष कुमार उर्फ सोनू आनंद गीतकार वीरेंद्र कुमार पाण्डेय है , छायांकन गोपी दादा है , मारधाड़ दिनेश यादव , संकलन आलोक सिंह , कला राम बाबू ठाकुर , कार्यकारी निर्माता शेखर यादव है , प्रोडक्शन मनेजर शुभाष प्रजापति है , फिल्म भागवत के लेखक ललित शुक्ला है , फिल्म छक्का के लेखक अंजन गोस्वामी है , फिल्म पीआरओ रितिक कौशिक है।

फिल्म के मुख्य भूमिका में पावर स्टार संजीव मिश्रा , मणिभटाचार्य , ऋतु सिंह , प्रियांशु सिंह , विनोद मिश्रा , अनूप अरोड़ा , दिनेश बागड़ी , सोनू पांडेय , अर्चना सिंह , सुस्मिता मिश्रा , नीलम पांडेय , सोनिया मिश्रा आदि कलाकारों का चयन चल रहा है फिल्म की आगे की जानकारी के लिए फिल्म पीआरओ रितिक कौशिक से जुड़े रहे फिल्म की सूटिंग उत्तरप्रदेश , बिहार , नेपाल के विभिन्न लोकेशन पर बहुत जल्द स्टार्ट होगी।

टिप्पणियाँ

इस ब्लॉग से लोकप्रिय पोस्ट

बलिहारी गुर आपणैं का संदर्भ , प्रसंग सहित व्याख्या । Sakhi । Kabeer Ke Dohe Class 11 Up Board Solutions

प्रस्तुत पद्यांश "बलिहारी गुर आपणैं ‘" का संदर्भ , प्रसंग , व्याख्या , काव्य सौंदर्य तथा शब्दार्थ इस आर्टिकल में लिखा गया है। जो की कबीरदास जी की रचना है , ये छात्रों के लिए काफी मददगार होने वाला है। खास बात यह है कि अगर आप यूपी बोर्ड के 11वीं में हो तो हिंदी के "काव्य" पाठ 1 में "साखी" शीर्षक से है। आपको दूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "दोहे" का आर्टिकल अलग - लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा है, अवनीश कुमार मिश्रा ने, ये ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं)                               दोहा बलिहारी गुर आपणैं, द्यौहाड़ी कै बार। जिनि मानिष तैं देवता, करत न लागी बार॥ सन्दर्भ - प्रस्तुत पद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में ‘साखी’ शीर्षक से उद्धृत है, जो साखी ग्रंथ से लिया गया है। जिसके रचयिता कबीरदास जी हैं। प्रसंग - कबीरदास ने प्रस्तुत दोहे में गुरु के प्रति अपनी भावना व्यक्त किया है और महिमा का वर्णन करते हुए उनपर न्यौछावर हो जाने की बात की है।  व्याख्या - प्...

मेरी भव-बाधा हरौ, राधा नागरि सोइ की संदर्भ, प्रसंग सहित व्याख्या । Meri Bhaw Badha Harau Doha Bihari Lal

"मेरी भव-बाधा हरौ" की संदर्भ सहित व्याख्या इस आर्टिकल में की गई है। जो कि रससिद्ध कवि बिहारी की रचना है। और खास बात यह है कि यह पद्यांश यूपी बोर्ड के 10वीं के हिन्दी के काव्य में "भक्ति" शीर्षक से है। तो अगर आप 10वीं में हो तो आपके लिए ये काम की आर्टिकल है। आपके परीक्षा में आ सकता है।  ये दोहा शीर्षक का पहला "दोहा" है। आपको ढूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "पद" के लिए अलग - आर्टिकल लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा अवनीश कुमार मिश्रा ने वे ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं) दोहा - मेरी भव-बाधा हरौ, राधा नागरि सोइ । जा तन की झांईं परै, स्यामु हरित-दुति होइ॥ संदर्भ - प्रस्तुत दोहा  हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में "भक्ति " शीर्षक से उद्धृत है , जोकि रीतिकाल के रससिद्ध कवि बिहारी द्वारा रचित ‘बिहारी सतसई’ नामक ग्रंथ से लिया गया है। प्रसंग - प्रस्तुत पंक्ति में कवि ने राधा जी की वंदना की है। प्रस्तुत दोहे के कईं भाव हैं तो सभी को लिखा जा रहा है, जिससे समझने में आसानी हो। व्याख्या -   1...

दीपक दीया तेल भरि, बाती दई अघट्ट संदर्भ , प्रसंग सहित व्याख्या । Deepak Diya Tel Bhar । Sakhi । Kabeer Ke Dohe Class 11 Up Board Solutions

प्रस्तुत पद्यांश "दीपक दीया तेल भरि‘" का संदर्भ , प्रसंग , व्याख्या , काव्य सौंदर्य तथा शब्दार्थ इस आर्टिकल में लिखा गया है। जो की कबीरदास जी की रचना है , ये छात्रों के लिए काफी मददगार होने वाला है। खास बात यह है कि अगर आप यूपी बोर्ड के 11वीं में हो तो हिंदी के "काव्य" पाठ 1 में "साखी" शीर्षक से है। आपको दूढ़ने में दिक्कत ना हो इसलिए हर एक "दोहे" का आर्टिकल अलग - लिखा गया है। (यह आर्टिकल आप Gupshup News वेबसाइट पर पढ़ रहे हो जिसे लिखा है, अवनीश कुमार मिश्रा ने, ये ही इस वेबसाइट के ऑनर हैं)                               दोहा दीपक दीया तेल भरि, बाती दई अघट्ट। पूरा किया बिसाहुणाँ, बहुरि न आवौं हट्ट॥ सन्दर्भ - प्रस्तुत पद्यांश हमारी पाठ्य पुस्तक हिंदी के "काव्य खंड" में ‘साखी’ शीर्षक से उद्धृत है, जो साखी ग्रंथ से लिया गया है। जिसके रचयिता कबीरदास जी हैं। प्रसंग - प्रस्तुत दोहे में कबीरदास जी ने भक्ति पर बल देते हुए कहा कि इस योनि में भक्ति कर लेने से जीवन - मरण चक्र से मुक्ति मिल जाएगी। व्याख्या - प्रस्तुत पंक्ति...